About Shodashi

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कस्तूरीपङ्कभास्वद्गलचलदमलस्थूलमुक्तावलीका

सर्वाशा-परि-पूरके परि-लसद्-देव्या पुरेश्या युतं

Matabari Temple can be a sacred area where persons from distinct religions and cultures gather and worship.

साम्राज्ञी चक्रराज्ञी प्रदिशतु कुशलं मह्यमोङ्काररूपा ॥१५॥

The practice of Shodashi Sadhana can be a journey to each satisfaction and moksha, reflecting the twin mother nature of her blessings.

चतुराज्ञाकोशभूतां नौमि श्रीत्रिपुरामहम् ॥१२॥

कैलाश पर्वत पर नाना रत्नों से शोभित कल्पवृक्ष के नीचे पुष्पों से शोभित, मुनि, गन्धर्व इत्यादि से सेवित, मणियों से मण्डित के मध्य सुखासन में बैठे जगदगुरु भगवान शिव जो चन्द्रमा के अर्ध भाग को शेखर के रूप में धारण किये, हाथ में त्रिशूल और डमरू लिये वृषभ वाहन, जटाधारी, कण्ठ में वासुकी नाथ को लपेटे हुए, शरीर में विभूति लगाये हुए देव नीलकण्ठ त्रिलोचन गजचर्म पहने हुए, शुद्ध स्फटिक के समान, हजारों सूर्यों के समान, गिरजा के अर्द्धांग भूषण, संसार के कारण विश्वरूपी शिव को अपने पूर्ण भक्ति भाव से साष्टांग प्रणाम करते हुए उनके पुत्र मयूर वाहन कार्तिकेय ने पूछा —

ब्रह्माण्डादिकटाहान्तं जगदद्यापि दृश्यते ॥६॥

The Tale is really a cautionary tale of the strength of motivation and also the necessity to produce discrimination through meditation and following the dharma, as we progress in our spiritual path.

श्रीचक्रान्तर्निषण्णा गुहवरजननी दुष्टहन्त्री वरेण्या

Goddess Lalita is worshipped by different rituals and procedures, which include viewing her temples, attending darshans and jagratas, get more info and carrying out Sadhana for the two worldly pleasures and liberation. Every Mahavidya, which include Lalita, has a certain Yantra and Mantra for worship.

The worship of Tripura Sundari is a journey to self-realization, the place her divine elegance serves being a beacon, guiding devotees to the last word truth.

इसके अलावा त्रिपुरसुंदरी देवी अपने नाना रूपों में भारत के विभिन्न प्रान्तों में पूजी जाती हैं। वाराणसी में राज-राजेश्वरी मंदिर विद्यमान हैं, जहाँ देवी राज राजेश्वरी(तीनों लोकों की रानी) के रूप में पूजी जाती हैं। कामाक्षी स्वरूप में देवी तमिलनाडु के कांचीपुरम में पूजी जाती हैं। मीनाक्षी स्वरूप में देवी का विशाल भव्य मंदिर तमिलनाडु के मदुरै में हैं। बंगाल के हुगली जिले में बाँसबेरिया नामक स्थान में देवी हंशेश्वरी षोडशी (षोडशी महाविद्या) नाम से पूजित हैं।

The Mahavidyas, a group of 10 knowledge goddesses, showcase the multifaceted mother nature of your divine feminine. Tripura Sundari is among the ten Mahavidyas and is classified inside the gentle natured goddesses, in conjunction with Bhuvaneshwari, Matangi, and Kamala.

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